Lovlina ने सेमीफाइनल मुकाबला हारने के बावजूद रचा इतिहास

टोक्यो(लाइवभारत24)। 23 साल की भारतीय महिला बॉक्सर लवलिना बोरगोहेन पहली बार ओलिंपिक खेल रहीं है उन्होने सेमीफाइनल मुकाबला हारने के बावजूद इतिहास लिख दिया। वो ब्रॉन्ज लेकर ही भारत लौटेंगी। ऐसा करने वाली वो दूसरी महिला बॉक्सर हैं, इससे पहले 2012 में मेरीकॉम ने ब्रॉन्ज जीता था।
69 KG वेट कैटेगरी के इस मुकाबले में लवलिना वर्ल्ड नंबर वन तुर्की की बुसेनाज सुरमेली के खिलाफ लड़ रही थीं। उम्र और अनुभव का अंतर साफ नजर आया, पर बुसेनाज को लड़खड़ा देने वाले लवलिना के कुछ मुक्कों ने बता दिया कि अगली बार के लिए उम्मीदें सुनहरी हैं।

लवलिना ओलिंपिक में भाग लेने वाली असम की पहली महिला खिलाड़ी भी हैं। वे असम के गोलाघाट जिले की रहने वाली हैं। लवलिना बॉक्सिंग में आने से पहले किक बॉक्सिंग करती थीं। वे किक बॉक्सिंग में नेशनल लेवल पर मेडल जीत चुकी हैं। लवलिना ने अपनी जुड़वा बहनों लीचा और लीमा को देखकर किक बॉक्सिंग करना शुरू किया था और अब इतिहास रच दिया है।

स्पोर्ट्स अथॉरिटी ऑफ इंडिया (साई) के असम रीजनल सेंटर में सिलेक्शन होने के बाद वे बॉक्सिंग की ट्रेनिंग लेने लगी थीं। उनकी दोनों बहनें भी किक बॉक्सिंग में नेशनल स्तर पर मेडल जीत चुकी हैं। लवलिना को बचपन में काफी संघर्ष करना पड़ा। उनके पिता टिकेन बोरगोहेन की छोटी सी दुकान थी। शुरुआती दौर में लवलिना के पास ट्रैकसूट तक नहीं था। इक्विपमेंट और डाइट के लिए संघर्ष करना पड़ता था।

लवलिना और बुसेनाज के बीच अब तक कोई बाउट नहीं हुई थी। बुधवार को इनके बीच पहली भिड़ंत हुई थी। दोनों ही खिलाड़ियों के पास एक-दूसरे के खिलाफ लड़ने का अनुभव नहीं था, पर वर्ल्ड नंबर वन बुसेनाज अनुभव में भारी पड़ीं।
पहले ही राउंड से उन्होंने लवलिना पर बढ़त बना ली। लगातार पंचेज से ये अंतर और बढ़ता गया। उधर, शुरुआती बाउट में बुसेनाज को परख रही लवलिना ने अटैक करने में देरी कर दी।
लवलिना के पास हाइट एडवांटेज था। लवलिना की लंबाई 5 फीट 9.7 इंच है। वहीं, तुर्की की मुक्केबाज की लंबाई 5 फीट, 6.9 इंच। लंबाई में 2.8 इंच की बढ़त की एडवांटेज वो हासिल नहीं कर सकीं।

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