लखनऊ(लाइवभारत24)। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने कहा कि बुन्देलखण्ड क्षेत्र भक्ति और शक्ति का महासंगम है। इसी बुन्देलखण्ड की धरती पर चित्रकूट में भगवान श्रीराम ने अपने वनवास काल का सर्वाधिक समय व्यतीत किया था। मर्यादा पुरुषोत्तम भगवान श्रीराम की कथा भारत की कथा है। भारत के प्रत्येक मानस के हृदय में रची-बसी यह मानवीय कथा हम सभी को सदैव नई प्रेरणा देती है। संकट के समय चुनौतियों से जूझने का नया मार्ग दिखाती है। बड़ी से बड़ी चुनौतियों में भगवान श्रीराम की पावन कथा राह दिखाने का कार्य करती है।
मुख्यमंत्री जी आज जनपद ललितपुर में संत मोरारी बापू के राम कथा कार्यक्रम में अपने विचार व्यक्त कर रहे थे। उन्होंने कामना की कि बुन्देलखण्ड क्षेत्र के वासियों के लिए यहां हो रही रामकथा सुख व समृद्धि का वाहक बने। बुन्देलखण्ड क्षेत्र विकास की उन बुलंदियों की ओर आगे बढ़े, जो प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी की परिकल्पना है। इस अवसर पर उन्होंने व्यासपीठ की आरती भी की। उन्होंने कहा कि देश में विपरीत परिस्थितियों में श्री राम कथा और व्यासपीठ ने एक नई दिशा देने का कार्य किया है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि रामराज्य का मतलब, जहां किसी के साथ कोई भेदभाव न हो, जहां किसी के सामने कोई अभाव न हो, जहां किसी बुराई के लिए कोई स्थान न हो। ऐसी आदर्श व्यवस्था भारत में बन रही है। अयोध्या में भगवान श्रीराम का भव्य मन्दिर शीघ्र निर्मित होने वाला है। भगवान श्रीराम के भव्य मन्दिर का मतलब भगवान श्रीराम के अनुरूप राष्ट्र का मन्दिर। गरीबों के लिए मकान बन जाना, उनके लिए स्वास्थ्य सुविधाओं का हो जाना, सदी की सबसे बड़ी महामारी के दौरान निःशुल्क टेस्ट, उपचार, वैक्सीन और हर गरीब के लिए निःशुल्क राशन की व्यवस्था केन्द्र व राज्य सरकार द्वारा की गई है, यही रामराज्य है। इन सभी कार्यों में कोई भेदभाव नहीं हुआ है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि बुन्देलखण्ड क्षेत्र की सबसे बड़ी समस्या पेयजल की थी। आज जल जीवन मिशन के माध्यम से हर घर जल का स्वप्न साकार हो रहा है। इसके लिए युद्ध स्तर पर कार्य किया जा रहा है। कुछ परियोजनाएं जून, 2022 में पूर्ण हो जाएंगी। अन्य परियोजनाएं भी इसी प्रकार आगामी महीनों में पूरी होती जाएंगी। दिसम्बर, 2022 तक लगभग सम्पूर्ण बुन्देलखण्ड क्षेत्र के हर गांव, हर घर तक आर0ओ0 का शुद्ध पानी पहंुचा दिया जाएगा। खेतों के लिए सिंचाई की व्यवस्था हो रही है। डिफेंस कॉरिडोर का निर्माण भी यहीं हो रहा है। एक तरफ खेतों में फसलें लहलहाएंगी, तो दूसरी तरफ यहां का नौजवान सीमा की रक्षा के लिए तोप लेकर जाएगा और वह तोप भी यहीं की बनी होगी।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि हमें सामूहिकता के साथ कार्य करने हांेगे। सामूहिकता में बड़ी ताकत होती है। भगवान श्रीराम ने सामूहिकता की इसी ताकत के साथ कार्य किया था। उन्होंने भारत की सामूहिक ताकत को पहचाना था। युद्ध के लिए वे अयोध्या व जनकपुर से सेना लेकर नहीं गए थे, बल्कि वानरों व भालुओं की सेना खड़ी करके उस समय के सबसे ताकतवर योद्धा का सामना किया और विजयश्री का वरण किया था। यदि भगवान श्रीराम भेदभाव करते, छुआ-छूत करते तो क्या वे शबरी के जूठे बेर खाते? क्या हनुमान जी उनके सेवक बन पाते? क्या रामराज्य की स्थापना का मार्ग प्रशस्त हो पाता? रामराज्य की स्थापना का मार्ग तब प्रशस्त होगा, जब भारत की 135 करोड़ जनता एक स्वर में बोलेगी। इसी मार्ग को प्रशस्त करने का कार्य देश में हो रहा है। बिना भेदभाव के शासन की योजनाओं का लाभ हर एक को मिल रहा है। सभी को सुरक्षा मिल रही है।
इस अवसर पर जल शक्ति मंत्री श्री स्वतंत्र देव सिंह, श्रम एवं सेवायोजन राज्य मंत्री श्री मनोहर लाल मन्नू कोरी सहित अन्य गणमान्य व्यक्ति उपस्थित थे।