अयोध्या(लाइवभारत24)। शनिवार को हुई रामजन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट की बैठक में राम मंदिर निर्माण समिति के चेयरमैन नृपेंद्र मिश्र समेत 12 सदस्य शामिल हुए। तीन सदस्य वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए मौजूद रहे।
इसमें मंदिर के शिलान्यास की तारीख को लेकर चर्चा हुई। राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के सदस्य कामेश्वर चौपाल ने कहा कि पीएमओ को 3 व 5 अगस्त तारीख भेजी गई है। वहां से मंजूरी के बाद अंतिम निर्णय लिया जाएगा। बैठक में राम मंदिर के स्वरूप पर भी हुई चर्चा। 161 फीट ऊंचा होगा राम मंदिर।  ट्रस्ट के अध्यक्ष महंत नृत्यगोपाल दास प्रधानमंत्री को अयोध्या आने का निमंत्रण पत्र भेज चुके हैं। रामजन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट की बैठक में राम मंदिर निर्माण समिति के चेयरमैन नृपेंद्र मिश्र समेत 12 सदस्य शामिल हुए। तीन सदस्य वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए मौजूद थे।
वहीं, ट्रस्ट के जनरल सेक्रेटरी चंपत राय ने बताया कि चर्चा की गई थी कि मानसून के बाद जब परिस्थतियां सामान्य हो जाएंगी तो मंदिर निर्माण में आर्थिक सहायता के लिए देश के 4 लाख इलाकों में 10 करोड़ परिवारों से संपर्क किया जाएगा। स्थिति सामान्य होने, फंड कलेक्ट होने के बाद और मंदिर निर्माण से जुड़ी सभी ड्राइंग पूरी होने के बाद, हमें लगता है कि 3 से साढ़े 3 साल में मंदिर निर्माण पूरा हो जाएगा। चंपत राय ने कहा कि जहां मंदिर बनना है, उस स्थान पर मलबे को धीरे-धीरे हटाकर समतल बनाया गया है ताकि काम करने वाले को आसानी हो सके, जो अवषेश जमीन से प्राप्त हुए हैं, उसे सभी ने देख लिए हैं।60 मीटर गहराई तक खुदाई कर जमीन का परीक्षण किया जा रहा है। यदि जमीन सही नहीं निकली तो मंदिर को आगे बढ़ाया जा सकता है। चंपत राय ने कहा कि मंदिर का निर्माण करने में दस करोड़ लोगों का सहयोग लिया जाएगा। इसका निर्माण एलएंडटी कम्पनी और सोमपुरा मिलकर करेंगे।

बैठक में 5 मुद्दों पर बातचीत हुई
1. मंदिर निर्माण के शिलान्यास की तारीख तय करना।
2. प्रधानमंत्री को भूमिपूजन के लिए बुलाना।
3. मुख्य गर्भगृह का डिजाइन तय करना।
4. 70 एकड़ के परिसर के विस्तार पर सुझाव लेना और 108 एकड़ करने पर सहमति बनाना।
5. परिसर में सीता मंदिर के निर्माण पर चर्चा करना।
मणिराम छावनी मठ के महंत कमल नयन दास ने कहा- मंदिर निर्माण जल्द शुरू होगा। संतों की मांग है कि प्रधानमंत्री जल्द यहां आकर निर्माण शुरू कराएं। वे पहले ही आने वाले थे पर कोरोना संकट से कार्यक्रम टल गया। बैठक के पहले बाबरी मस्जिद के पक्षकार रहे इकबाल अंसारी ने कहा, ‘मैं प्रधानमंत्री का अयोध्या में स्वागत करना चाहता हूं। मंदिर निर्माण को लेकर जो संत समाज चाहता है, वही मैं भी चाहता हूं।’ अंसारी के मुताबिक, सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर मस्जिद के लिए जो 5 एकड़ भूमि मुस्लिम समाज को दी गई है, उस पर एक अस्पताल और एक स्कूल का निर्माण किया जाए।
ट्रस्ट के सदस्य कामेश्वर चौपाल ने कहा- पीएम के द्वारा अगर मंदिर के गर्भगृह का पूजन और मंदिर निर्माण का शुभारंभ होता है तो यह सबसे अच्छा है। शिलापूजन सिंहद्वार के शिलान्यास के साथ हो चुका है। अब गर्भगृह का पूजन होना है। कोरोना को देखते हुए ट्रस्ट ने इसके भूमिपूजन कार्यक्रम को टाल दिया था। देश के सामने जो संकट है सबसे पहले उसका मुकाबला करना है। चौपाल ने कहा कि राम मंदिर के साथ राष्ट्र मंदिर भी बनेगा।

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