लखनऊ(लाइवभारत24)। उत्तर प्रदेश में दो विधान सभा और एक लोक सभा सीट पर उपचुनाव होने जा रहा है। इसे लेकर सपा भाजपा के नेताओं में जुबानी जंग जारी है। इसी बीच प्रगतिशील समाजवादी पार्टी (लोहिया) के राष्ट्रीय अध्यक्ष शिवपाल की सुरक्षा को योगी सरकार ने कम कर दिया है। साथ ही सपा सरकार में गोमती रिवर फ्रंट घोटाले में तत्कालीन सिंचाई मंत्री शिवपाल यादव से सीबीआई ने पूछताछ के लिए शासन से अनुमति मांगी है। इसे लेकर कांग्रेस प्रवक्ता अंशू अवस्थी ने योगी सरकार पर जमकर निशाना साधा है।
उन्होंने कहा कि भ्रष्टाचार के विषय पर भाजपा की नियत में खोट है। उन्होंने कहा कि भ्रष्टाचार समाप्त करने के बजाय सिर्फ हथियार बनाकर इस्तेमाल कर रही है। अंशू ने कहा कि जब 8 साल बीत जाने के अब शिवपाल यादव से सीबीआई पूछताछ की अनुमति मांग रही है। आखिर जब शिवपाल यादव पर आरोप था तो सरकार आठ साल में जांच क्यों नहीं कराई। उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार लोगों को भ्रष्टाचार के नाम पर गुमराह कर रही है। जबकि हकीकत यह है कि भ्रष्टाचार समाप्त करने की बजाय उसकी पोषक है। उन्होंने कहा कि जब चुनाव आते हैं तो विपक्ष के नेताओं को चुप कराने के लिए सीबीआई, ईडी जैसी सरकारी मशीनरी का प्रयोग करती है। बता दें कि प्रगतिशील समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष शिवपाल सिंह यादव ने 2022 के उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव से पहले सपा से हाथ मिलाया था, लेकिन उसके बाद उनके रिश्ते फिर से खराब हो गए। जब से शिवपाल सिंह यादव ने सपा से नाता तोड़ा है, ऐसी अफवाहें थीं कि वह भाजपा में शामिल हो सकते हैं। हालांकि उन्होंने हर बार इसका खंडन किया, लेकिन भाजपा सरकार द्वारा उनकी पार्टी के लिए एक बंगले के आवंटन ने अटकलों को हवा दी थी। उसी दौरान राज्य सरकार ने 2018 में शिवपाल सिंह यादव को ‘जेड श्रेणीश् की सुरक्षा भी मुहैया कराई जिसे रविवार को घटाकर ‘वाई श्रेणीश् का करने का आदेश दे दिया गया। वहीं अब सपा सरकार में बने रिवरफ्रंट घोटाले की जांच की आंच आ गई गई है। दरअसल, शिवपाल यादव समेत दो वरिष्ठ अफसरों की भूमिका की पड़ताल शुरू सीबीआई ने मांगी पूछताछ की अनुमति मांगी है। गोमती रिवर फ्रंट के दौरान शिवपाल सिंचाई मंत्री थे। फिलहाल सपा ने इस जांच को राजनीतिक बदले की भावना से देख रही है।

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