लखनऊ (लाइवभारत24)। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने विजयादशमी के अवसर पर परंपरागत विजय शोभायात्रा की अगुवाई कर मानसरोवर रामलीला मैदान पहुंचे। मर्यादा पुरुषोत्तम भगवान राम का राजतिलक करने के बाद उनके आदर्शों पर चलने का आह्वान किया। उन्होंने श्रीराम के मर्यादा पुरुषोत्तम स्वरूप का स्मरण कराया। कहा कि हजारों वर्ष पहले स्‍थापित रामराज्‍य आज भी हम सब को प्रेरणा देता है। उसी मर्यादा का पालन करके हम कोविड-19 की जंग भी जीत सकते हैं। अपने सामान्य जन-जीवन को आगे बढ़ा सकते हैं। सीएम ने श्रद्धालुओं को शारदीय नवरात्र और विजयादशमी की शुभकामनाएं दीं। उन्‍होंने कहा कि कोविड-19 पर विजय पाने के लिए हमें ‘दो गज की दूरी, मास्क है जरूरी’ का पालन करना ही होगा। हमें जान भी बचानी है और जहान भी। मानसरोवर रामलीला मैदान में रामलीला के मंचन की 100 वर्ष से चली आ रही परम्‍परा की चर्चा करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि इस माध्यम से हम अपनी समृद्ध, सांस्कृतिक और आध्यात्मिक विरासत को सुरक्षित रखने में सफल हो सके हैं। उन्होंने लोगों से अपील की कि वे रामलीला के मंच को केवल वर्ष में एक बार होने वाली रामलीला तक न सिमटने दें। राष्ट्रीय पर्वों और श्रीकृष्ण जन्माष्टमी पर भी इन मंचों से आयोजन का सिलसिला जारी रखें। मुख्यमंत्री ने रामलीला मंचों से भजनों की श्रृंखला शुरू करने की भी सलाह दी। उन्होंने कहा कि रामलीला के मंच से वर्ष में कम से कम चार से छह कार्यक्रम अवश्य होने चाहिए। मुख्यमंत्री ने कोविड-19 के दौर में दुर्गा पूजा को घरों के दायरे में रह कर मनाने की लोगों की प्रशंसा की। उन्होंने कहा कि ऐसा करके हम पर्व की दिव्यता और भव्यता को कायम रखते हुए कोविड-19 प्रोटोकाल का पालन भी कर सके हैं।
मुख्यमंत्री ने रामलीला मैदान जैसे स्थलों को सुरक्षित और संरक्षित करने पर जोर दिया। कहा कि आध्यात्मिक विरासतों को सुरक्षित करने का काम निरंतर चल रहा है। ऐसे में अब किसी धार्मिक स्थल पर कब्जा या अतिक्रमण करना संभव नहीं होगा। आध्यात्मिक विरासतें बुरी नजरों से बची रहेंगी।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अयोध्या में जन्मभूमि पर हो रहे भव्य राममंदिर निर्माण की भी चर्चा की। उन्‍होंने कहा कि 492 वर्ष के लंबे अंतराल के बाद भव्य मंदिर का निर्माण शुरू हो गया है। अयोध्या के जरिए देश की यश और कीर्ति पूरे विश्व में फैली है। उन्‍होंने राम मंदिर के लिए पीढ़ियों के संघर्ष को भी याद किया। कहा कि ब्रह्मलीन महंत दिग्विजयनाथ और ब्रह्मलीन महंत अवेद्यनाथ ने अयोध्या में राम मंदिर निर्माण के लिए लम्बी लड़ाई लड़ी। उनका सपना अब पूरा हो रहा है। सभी देशवासिओं को बधाई।

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