हिंदी में लॉन्‍च के बाद, लिंक्डइन अब दुनिया भर की 25 भाषाओं में उपलब्ध है

नई दिल्ली(लाइवभारत24)। दुनिया के सबसे बड़े प्रोफेशनल नेटवर्क लिंक्‍डइन ने हिंदी के लॉन्‍च के साथ एक नई उपलब्धि हासिल की है। हिंदी लिंक्‍डइन पर पहली भारतीय क्षेत्रीय भाषा है। इसके पीछे लिंक्‍डइन का लक्ष्‍य दुनिया भरत में 600 मिलियन हिंदी भाषी वक्‍ताओं को सपोर्ट करना है। इस लॉन्च के साथ लिंक्डइन का उद्देश्य भाषा की दीवारों को तोड़कर भारत समेत दुनिया भर में हिंदी भाषियों को प्रोफेशनल और नेटवर्किंग के अवसर बड़े पैमाने पर उपलब्ध कराना है। हिंदी के लॉन्‍च के साथ, लिंक्डइन ने अब दुनिया भर की 25 भाषाओं को अपना समर्थन दिया है।

हिंदी में लिंक्‍डइन का फेज1 आज से शुरू हो रहा है, ऐसे में मेंबर्स अपनी फीड, प्रोफाइल, जॉब और मैसेजिंग तक पहुंच सकेंगे और अपने डेस्कटॉप, एंड्रॉयड और आईओएस फोन पर हिंदी में कंटेंट बना सकेंगे। इसके अगले कदम के रूप में लिंक्डइन अब विभिन्न इंडस्ट्रीज में हिंदी भाषी लोगों के लिए रोजगार के अवसरों को बड़े पैमाने पर बढ़ाने की दिशा में काम करेगा, जिसमें बैंकिंग और सरकारी नौकरियां भी शामिल होंगी। प्‍लेटफॉर्म आने वाले हफ्‍तों में और अधिक हिंदी प्रकाशकों एवं क्रिएटर्स को जोड़ना जारी रखेगा ताकि हिंदी में सदस्‍यों का जुड़ाव एवं बातचीत को बढ़ावा दिया जा सके।

भारत लिंक्डइन में विकास के लिए प्रमुख बाजार है। यह अमेरिका के बाद सदस्यों की संख्या के मामले में दुनिया सबसे बड़ा मार्केट है। लिंक्डइन के दुनिया भर में 800 मिलियन सदस्यों में से 82 मिलियन सदस्य भारतीय हैं। पिछले तीन सालों में भारत में लिंक्डइन के सदस्यों की संख्या 20 मिलियन से ज्यादा बढ़ गई है। (साल-दर-साल 15 फीसदी विकास)। महामारी के बाद इस प्लेटफॉर्म पर लोगों के एक-दूसरे से जुड़ने और बातचीत करने में काफी बढ़ोतरी हुई है।

आशुतोष गुप्‍ता, इंडिया कंट्री मैनेजर, लिंक्‍डइन ने कहा, “भारत में लिंक्डइन ने महामारी और नए जमाने के वर्किंग माहौल में लोगों को एक-दूसरे से जोड़ने, सीखने, आगे बढ़ने और जॉब पर रखने में मदद करने का महत्वपूर्ण अभियान चलाया था। हिंदी में लॉन्चिंग के साथ अब ज्यादा सदस्य और उपभोक्ता प्लेटफॉर्म पर कंटेंट, जॉब्स और नेटवर्किंग का ज्यादा लाभ उठा सकते हैं। वह अपने को उस भाषा में अभिव्यक्त कर सकते हैं, जिसमें उन्हें आसानी और सुविधा महसूस होती हो।”

पिछले साल हमारी सदस्य संख्या में बढ़ोतरी हुई और हमारे प्लेटफॉर्म पर लोग एक-दूसरे से गहराई से जुड़े थे। इस रोमांचक मोड़ पर हम अपनी वर्कफोर्स के “हर” सदस्य के लिए आर्थिक अवसरों को और बढ़ाने के अपने विजन को मजबूती देने का काम कर रहे हैं। हम दुनियाभर में हिंदी भाषियों के लिए भाषा की रुकावट को दूर कर रहे हैं।”

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